मुख्यमंत्री नंदप्रयाग में रामकथा में शामिल हुए , श्रीराम के आदर्शों को आत्मसात करने का दिया संदेश

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चमोली (उत्तराखंड)। मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने रविवार को नंदप्रयाग में अलकनंदा और नंदाकिनी के संगम स्थल पर आयोजित रामकथा में भाग लिया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि उनका सौभाग्य है कि उन्हें संतवाणी का साक्षी बनने का सुअवसर प्राप्त हुआ।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मर्यादा पुरुषोत्तम श्रीराम की जीवनगाथा आत्मिक चेतना जागृत करने का माध्यम है। रामकथा हमारे जीवन मूल्यों को जागृत करती है और भगवान श्रीराम के आदर्शों को आत्मसात करने का दिव्य अवसर प्रदान करती है। श्रीराम के आदर्शों से हमें धर्म, करुणा, सत्य, सेवा और भक्ति की महत्ता का बोध होता है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि मोरारी बापू जी की अमृतवाणी से हमें जीवन को राममय बनाने की प्रेरणा मिलती है। उन्होंने यह भी कहा कि प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में विश्वनाथ कॉरिडोर, महाकाल लोक और अयोध्या में भगवान श्रीराम के भव्य मंदिर का निर्माण हुआ, जिससे हमारी सनातन संस्कृति को वैश्विक स्तर पर नई पहचान मिली है।

मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री के मार्गदर्शन में प्रदेश सरकार समग्र विकास के साथ-साथ सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण और संवर्धन की दिशा में निरंतर कार्य कर रही है।

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